शैतानी रस्म, best Horror story in Hindi
शैतानी रस्म, पढ़ने के लिए एक best Horror story है । अगर आप एक डरावनी हॉरर स्टोरी की तलाश में है तो, इस स्टोरी को मिस ना करें ।
शैतानी रस्म, best Horror story in Hindi
शैतानी रस्म (shaitani rasma), एक ऐसे गांव की स्टोरी है । जहां देवताओं की जगह, शैतानी की पूजा की जाती थी । परंतु शैतानी रस्म से प्रिया, पूरी तरह से उब हो चुकी थी । इसके बाद प्रिया कुछ ऐसा करती है जिसके वजह से, सालों से चल रहे हैं इस कुप्रथा को वह एक झटके में खत्म कर देती है परंतु इस शैतानी रस्म के दौरान उसे, रूप से कपा देने वाली डर का सामना करनी पड़ती है ।
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शैतानी रस्म, best Horror story in Hindi |
रात के सन्नाटे में, सुनसान रास्ते से एक नई नवेली दुल्हन कब्रिस्तान कि तरफ जाने वाले रास्ते पर जा रही होती है । वह पसीने से बुरी तरह से लटपट होती है, उसके चेहरे पर भय साफ-साफ दिखाई दे रही थी । थोड़ी देर में ही, वह उसे कब्रिस्तान के गेट पर पहुंच जाती है और वह अपने निगाहों से चारों तरफ गौर से देखने लगती है । इसके बाद वह नई नवेली दुल्हन उस कब्रिस्तान में अपने साथ लाई पोटली को गारने लगती है । उसे पोटली को मिट्टी मे दफनाने के बाद, वह नई नवेली दुल्हन, उस कब्रिस्तान से काफी तेजी से निकलने लगती है । वह नई नवेली दुल्हन जैसे ही कब्रिस्तान से जाती है । उस कब्रिस्तान की तरफ एक और औरत आती है । वह औरत अपने चेहरे को पूरी तरह से, घुंघट से झांकी हुई होती है । वह औरत उस कब्रिस्तान के अंदर जाती है और उस नई नवेली दुल्हन द्वारा दफनाए गए पोटली को मिट्टी से बहार निकालने लगती है । उस औरत को जैसे ही वह पोटली मिलती है, उसके चेहरे पर एक शैतानी स्माइल आ जाती है । दूसरी तरफ हम देखते हैं, वह नई नवेली दुल्हन उस कब्रिस्तान के पास एक बड़े घर के अंदर चली जाती है । उस घर के अंदर सूरज बेड पर बैठा होता है । वह जैसे ही, उस नई नवेली दुल्हन को देखता है, वह कहने लगता है, आ गई प्रिया, काफी देर से मैं तुम्हारा इंतजार कर रहा था । सूरज का इतना बात सुनने के बाद भी, वह नई नवेली दुल्हन कोई जवाब नहीं देती है । प्रिया के चेहरे पर गुस्सा साफ-साफ दिखाई दे रहा होता है तभी अचानक वह सूरज को कहती है, अब मुझसे नहीं होंगा, तुम्हारे घर के यह अजीबोगरीब रस्म । मै जब से, तुम्हारे घर में आई हूं मैं थक चुकी हूं इस प्रकार के रसम कर करके । प्रिया के इतना बात सुनने के बाद ऐसा लग रहा था मानो वह जब से सूरज के घर आई हो, तब से सूरज के घर वाले उससे कोई अजीबोगरीब रस्म हमेशा कराते हैं । जिससे अब प्रिया ऊब चुकी है । दूसरी तरफ सूरज की मां और बहन, प्रिया की इस गुस्सा से भरी आवाज को सुन रही होती है । प्रिया के इन बातों को सुनने के बाद, सूरज की मां को ऐसा लगता है, प्रिया ने शायद उन शैतानी रस्म को नहीं की है। जिसकी पुष्टि के लिए वे लोग उस कब्रिस्तान की तरफ जाने लगते हैं । कब्रिस्तान की ओर जाने वाला वह रास्ता पूरी तरह से सुनसान होता है, साथ ही उस रास्ते के चारों तरफ घना अंधेरा छाया होता है । फिर भी सूरज की मां और उसकी बहन के चेहरे पर थोड़ा भी भय नहीं होता है । सूरज की मां कहती है, लगता है यह कुलक्षणी, प्रिया वर्षों से चल रहे हमारे परंपरा को तोड़कर ही मानेगी । वर्षों से जो हमारे पूर्वज शैतानो की पुजा और शैतानी रस्म (shaitani rasma) करते आ रहे हैं, उसे करने में इतना दिक्कत क्यों होती है । वे लोग एक दूसरे से, इतना बातचीत कर ही रहे होते हैं तभी अचानक, उन लोगों के सामने वही औरत आ जाती है । जो प्रिया के जाने के बाद, उस कब्रिस्तान में लालटेन लेकर आ हुई थी । उसे औरत के एक हाथ में लालटेन होती है और दूसरे हाथ में वही पोटली होती है । जिसे प्रिया ने उस कब्रिस्तान में,मिट्टी के अंदर दफना दिया था । इन सारी चीजों को देखनेके बाद, उन दोनों के चेहरा पूरी तरह से सफेद पड़ जाता है, वे लोग बुरी तरह से कांपने लगते हैं । कांपते हुए स्वर में वे लोग कहते हैं कौन हो तुम, वे लोग इतना कह ही रहे होते हैं, तभी अचानक वह औरत उस लालटेन को अपने चेहरे के पास लाती है और अचानक अपने चेहरे से घूंघट को हटा देती है । घुंघट के अंदर के चेहरे को जैसे ही वे लोग देखते हैं, उन लोगों की रूह कांप जाती है । वह औरत इन लोगों के साथ कुछ कर पाती इससे पहले ही वे लोग अपनी जान बचाने के लिए, वहां से भागना शुरू कर देते हैं । थोड़ी देर में ही वे लोग अपने घर पहुंच जाते हैं । घर के अंदर जाने के बाद वे लोग अपना दरवाजा पूरी तरह से बंद कर लेते हैं । उन लोगों का शरीर बुरी तरह से कांप रहा होता है । वे लोग जैसे तैसे करके उसे रात को गुजारते हैं ।
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इतना सब हो जाने के बावजूद भी, सूरज के घर के लोग प्रिया से शैतानी रस्म (shaitani rasma) करने का सिलसिला जारी रखते हैं । कभी उस शैतान को प्रिया के हाथों से, जानवरों की बली दिलवाती तो कभी, उन शैतानी शक्तियों का जाप करने को कहती ।
शैतानी रस्म करने की इस सिलसिला से, एक बार फिर से प्रिया काफी गुस्सा हो जाती है और सूरज को इन सारी शैतानी रस्म (shaitani rasma) करने से मना करने लगती है । जिस पर सूरज कहता है, मुझे भी अच्छा नहीं लगता यह शैतानी रस्म करना परंतु, यह शैतानी रस्म (shaitani rasma) हमारे पूर्वज सालों से करते आ रहे हैं । हम लोगों का गांव सभी से पूरी तरह से अलग है । यहां के लोग देवताओं की जगह, शैतानों की पूजा करते हैं । शैतानों की आवाहन करते हैं । सूरज के बातों से यह तो क्लियर था कि, इन शैतानी रस्मों (shaitani rasma) से वह भी परेशान हो चुका था परंतु अपने घर वालों के प्रेशर की वजह से, वह ऐसा कर रहा होता है ।
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इन शैतानी रस्मों को करते हुए, कुछ दिन ही गुजरे होते हैं तभी एक बार फिर से सूरज की मां, सूरज और प्रिया से कहती है । अमावस्या आने वाली है इसलिए तुम लोगों को शैतानी शक्ति को खुश करने के लिए तैयारी शुरू करनी चाहिए । सूरज इस बात को सुनने के बाद कुछ कहना चाहता था परंतु वह कुछ कह नहीं पाता है । ना चाहते हुए भी, सूरज और प्रिया को उस शैतानी रस्मों को करने के लिए हामी भरनी पड़ती है । अमावस्य के दिन सूरज और प्रिया को काले रंग के वस्त्र दिए जाते हैं । और जैसे ही रात के 12:00 बजते हैं, सूरज और प्रिया उस काले वस्त्र को पहनकर एक गुफा की तरफ जाने लगते हैं । जहां उन लोगों को शैतानी शक्तियों को खुश करने के लिए शैतानी रस्म करनी होती है । सूरज और प्रिया जैसे ही उस गुफा के अंदर जाते हैं, वे लोग पूरी तरह से शोक रह जाते हैं क्योंकि वे लोग देखते हैं उसके गांव के जितने भी नई नवेली जोड़े होते हैं । वे लोग उस गुफा के अंदर उस शैतानी रस्म करने के लिए आए होते हैं, साथ ही वे लोग देखते हैं उस गुफा के अंदर शैतानों की बड़ी-बड़ी मूर्तियां होती हैं । सभी लोगों की तरह ही, सूरज और प्रिया भी, उस गुफा के अंदर एक सर्कल के अंदर बैठ जाते हैं । वहां पर बैठे सभी लोग उस शैतानी रस्म (shaitani rasma) को करने लगते हैं । वे लोग बार-बार शैतान के नामों का जाप कर रहे होते हैं, जिससे शैतान को खुश हो सके । परंतु, प्रिया सभी लोगों से हटके शैतान की जगह ईश्वर के नामों का जाप करने लगती है । प्रिया के जाप को सुनने के बाद, वहां पर बैठे सभी लोग प्रिया की तरफ आने लगते हैं और प्रिया को ऐसा करने से मना करने लगते हैं । वे लोग प्रिया को रोकने की काफी कोशिश करते हैं परंतु वे सभी लोग प्रिया तक नहीं पहुंच पाते हैं क्योंकि प्रिया एक सर्कल के अंदर बैठी होती है जिसके चारों तरफ, चावल और सिंदूर से एक सर्कल बना होता है । थोड़ी देर में ही उस गुफा के अंदर के, कुछ आश्चर्यजनक चीज होने लगती है । उस गुफा के अंदर पानी का एक सैलाब आने लगता है । जिसे देखने के बाद वे लोग पूरी तरह से दंग रह जाते हैं क्योंकि वहां पर आसपास कोई भी नदी या समुद्र नहीं होता है । वह पानी का सैलाब अपने साथ शैतानी रस्म करने की जितने भी चीजे होती है, अपने साथ बहा ले जाती है । तभी अचानक हम देखते हैं उस गुफा में बने शैतान के मूर्ति से, खून का एक धारा बहने लगता है और थोड़ी देर में ही, वह शैतान का मूर्ति धरसाही होकर गिर जाता है । प्रिया के वजह से, उस गांव की दिशा और दशा दोनों पुरी तरह से बदल जाती है । सालों से चल रही उस कुप्रथा को, प्रिया एक झटके में ही खत्म कर देती है ।
नोट : शैतानी रस्म (shaitani rasma), एक डरावनी हॉरर स्टोरी है यह पूरी तरह से काल्पनिक है । इस डरावनी हॉरर स्टोरी का वास्तविक जीवन से कोई भी देना देना नहीं है ।
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